हंसी रोक नही पाएंगे




हंसी रोक नही पाएंगे 
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        एक गरीब आदमी प्रतिदिन कागज़ में लिखता ! हे..प्रभु ! मुझे ₹50000/- भेज दो ! औऱ गुब्बारे में लिखकर उडा देता ! वो गुब्बारा , पुलिस थाने के ऊपर से गुजरता और पुलिस कर्मी उस गुब्बारे को पकड़ कर वो पर्ची पढते और उस आदमी के भोलेपन पर हंसते ! 
          एक दिन पुलिस कर्मियों ने सोचा , कि क्यों ना उस गरीब आदमी की मदद की जाए और पुलिस कर्मियों ने मिलकर ₹25000/- जमा किये और उस व्यक्ति को उसके घर जाकर दे आये  ! 
          दूसरे दिन , पुलिस कर्मियों ने जब गुब्बारा रोक कर पर्ची पढ़ी , तो होश उड़ गए ! उसमें लिखा था...! प्रभु.. आपके द्वारा भेजे गए पैसे तो मिल गए , लेकिन आपको पुलिस वालो के हाथ नहीं भेजने चाहिए थे ! साले ₹25000/- खा गए ! 🤣

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